Rivision:कक्षा 10-CHP 3; जल संसाधन

कक्षा 10 - भूगोल - 🌊 अध्याय 3 : जल संसाधन — बिंदुवार सरल नोट्स

कक्षा 10 - भूगोल - अध्याय 3 : जल संसाधन के लिए आसान भाषा में बिंदुवार नोट्स दिए गए हैं:


🌊 अध्याय 3 : जल संसाधन — बिंदुवार सरल नोट्स


🔹 1. जल का महत्व

  • जल जीवन का आधार है — यह पीने, खेती, उद्योग, ऊर्जा उत्पादन आदि के लिए जरूरी है।

  • नदियों, झीलों, तालाबों और भूमिगत जल स्रोतों से पानी मिलता है।

  • जल का निरंतर नवीकरण जल चक्र (Water Cycle) के द्वारा होता है।


🔹 2. जल की उपलब्धता

  • पृथ्वी का 3/4 भाग जल से ढका है, लेकिन
    👉 केवल 0.003% जल ही पीने योग्य (मीठा जल) है।

  • यह मीठा जल हमें दो प्रमुख स्रोतों से मिलता है:

    1. सतही जल – नदियाँ, झीलें, झरने आदि

    2. भौमजल (Groundwater) – कुएँ, नलकूप आदि


🔹 3. जल दुर्लभता (Water Scarcity)

  • इतना जल होते हुए भी कई जगह जल की कमी होती है। इसके कारण:

    • असमान वर्षा और मौसमी परिवर्तन

    • जल का अति दोहन (Overuse)

    • जनसंख्या वृद्धि

    • खेती और उद्योगों में अत्यधिक जल का प्रयोग

    • जल का असमान वितरण

    • जल प्रदूषण – कारखानों, कीटनाशकों और अपशिष्टों से


🔹 4. जल संकट के उदाहरण

  • 🌧️ असम/कोलकाता में बाढ़ – अधिक जल, पर पीने योग्य नहीं

  • ☀️ राजस्थान – कम वर्षा, कठिन जल उपलब्धता

  • 🏙️ शहरों में – निजी नलकूपों से जल स्तर नीचे जा रहा है

  • 🏭 उद्योगों और कारखानों में – भारी जल उपयोग और प्रदूषण


🔹 5. भूजल दोहन के दुष्परिणाम

  • भूजल स्तर गिरता है

  • कुएँ और नलकूप सूख जाते हैं

  • खेती और पीने के लिए पानी मिलना मुश्किल हो जाता है

  • भोजन सुरक्षा (Food Security) पर संकट


🔹 6. जल प्रदूषण की समस्या

  • घरेलू और औद्योगिक अपशिष्ट, कीटनाशक और रसायन नदियों को जहरीला बना रहे हैं

  • गंगा और यमुना जैसी प्रमुख नदियाँ भी प्रदूषित हो चुकी हैं

  • यह प्रदूषण मानव स्वास्थ्य और पूरे पारिस्थितिकी तंत्र के लिए खतरनाक है


🔹 7. जल संरक्षण और प्रबंधन की आवश्यकता

  • बढ़ती माँग को पूरा करने और संकट से बचने के लिए जरूरी है:

    • जल का समझदारी से प्रयोग

    • पुनर्भरण (Recharge) के तरीके अपनाना

    • जल को बचाना, दोबारा उपयोग करना

    • वर्षा जल संचयन (Rainwater Harvesting)

    • शुद्धिकरण तकनीकों का इस्तेमाल


🔹 8. क्या किया जा सकता है?

  • घरों में – नलों को खुला न छोड़ें, पानी बर्बाद न करें

  • कृषि में – ड्रिप सिंचाई, सूखा-रोधी फसलें

  • उद्योगों में – जल पुनर्चक्रण (Recycle)

  • सरकारी स्तर पर – सख्त कानून, नीतियाँ, जागरूकता अभियान


📌 नारा याद रखें

"हर बूँद बचाएँ, जीवन बचाएँ!"


📌 1. जल संरक्षण की प्राचीन परंपरा

  • प्राचीन भारत में सिंचाई और जल संग्रह के लिए बाँध, जलाशय, झील, नहर जैसे संरचनाएँ बनाई जाती थीं।

  • उदाहरण:

    • श्रिंगवेरपुर (इलाहाबाद) – बाढ़ जल संग्रह तंत्र (ईसा से पूर्व 1 शताब्दी)

    • चंद्रगुप्त मौर्य काल – बड़े पैमाने पर बाँध और सिंचाई व्यवस्था

    • भोपाल झील (11वीं शताब्दी) – कृत्रिम झील

    • हौज खास (दिल्ली) – 14वीं शताब्दी में इल्तुतमिश द्वारा बनवाया गया


📌 2. बहुउद्देशीय परियोजनाएँ क्या हैं?

  • एक परियोजना जो सिंचाई, बिजली उत्पादन, बाढ़ नियंत्रण, जल आपूर्ति, मत्स्य पालन, नौचालन आदि कई कार्यों को एक साथ करती है।

  • उदाहरण:

    • भाखड़ा-नंगल परियोजना (सतलुज- ब्यास बेसिन)

    • हीराकुंड बाँध (महानदी बेसिन)


📌 3. बाँध क्या होता है?

  • बाँध एक संरचना है जो जल को रोककर जलाशय बनाता है।

  • जल को बाद में सिंचाई, बिजली, और घरेलू उपयोग के लिए उपयोग किया जाता है।

  • बाँधों का वर्गीकरण:

    • संरचना अनुसार: लकड़ी, पक्का, तटबंध

    • ऊँचाई अनुसार: उच्च बाँध, मध्यम बाँध, छोटे बाँध


📌 4. आज के समय में बाँधों का उद्देश्य

  • केवल सिंचाई नहीं, बल्कि बिजली उत्पादन, बाढ़ नियंत्रण, जल आपूर्ति, मत्स्य पालन, पर्यटन आदि।

  • इन्हें "आधुनिक भारत के मंदिर" कहा गया (जवाहरलाल नेहरू)


📌 5. बाँधों से उत्पन्न समस्याएँ

पर्यावरणीय समस्याएँ:

  • नदी का प्राकृतिक बहाव रुकता है

  • तलछट का बहाव रुकने से मिट्टी बंजर हो सकती है

  • मछलियों का प्रवास बाधित होता है

  • बाढ़ के मैदान की मिट्टी और वनस्पति डूब जाती है

सामाजिक समस्याएँ:

  • विस्थापन: स्थानीय लोगों को घर और आजीविका छोड़नी पड़ती है

  • गरीब और भूमिहीन लोगों को परियोजनाओं से कोई लाभ नहीं मिलता


📌 6. आंदोलन और विरोध

  • नर्मदा बचाओ आंदोलन – सरदार सरोवर बाँध के खिलाफ जन आंदोलन

  • विस्थापित लोगों के पुनर्वास की माँग

  • टिहरी बाँध के खिलाफ भी विरोध


📌 7. सामाजिक असमानता और संघर्ष

  • बाँधों से अमीर किसानों और उद्योगों को लाभ, गरीब किसान प्रभावित

  • गुजरात में सूखे के समय शहरी क्षेत्रों को पानी देना किसानों के विरोध का कारण बना


📌 8. अंतर्राज्यीय विवाद

  • जल के असमान वितरण से राज्यों में विवाद

  • कृष्णा-गोदावरी विवाद – महाराष्ट्र द्वारा बाँध से जल की दिशा परिवर्तन पर कर्नाटक और आंध्र प्रदेश ने आपत्ति जताई


📌 9. बाँधों की विफलता और नुकसान

  • जलाशयों में तलछट जमा होने से बाँध की क्षमता घटती है

  • बाढ़ नियंत्रण में असफलता, जैसे – 2006 महाराष्ट्र व गुजरात बाढ़

  • मृदा अपरदन, भूमि उर्वरता में कमी

  • जलजनित बीमारियाँ, भूकंप की आशंका, और पर्यावरणीय संकट की संभावना


🌧️ वर्षा जल संग्रहणएक व्यवहार्य विकल्प

🔹 बहुउद्देशीय परियोजनाओं का विकल्प

  • उनके पर्यावरणीय और सामाजिक नुकसान के कारण वर्षा जल संग्रहण एक वैकल्पिक उपाय के रूप में उभर रहा है।

  • यह सामाजिक, आर्थिक और पारिस्थितिक रूप से टिकाऊ है।


🏛️ प्राचीन भारत में जल संग्रहण की परंपरा

  • लोगों को जलचक्र, मिट्टी और वर्षा की अच्छी समझ थी।

  • उन्होंने स्थानीय जरूरतों और पारिस्थितिकी के अनुसार संग्रहण पद्धतियाँ विकसित कीं।

🏞️ क्षेत्र अनुसार जल संग्रहण पद्धतियाँ

क्षेत्र पद्धति/उदाहरण
पश्चिमी हिमालय 'गुल' या 'कुल' (नदी जल मोड़कर सिंचाई)
राजस्थान छत वर्षा जल संग्रहण, जोहड़, खादीन, टांका
पश्चिम बंगाल बाढ़ जल वाहिकाएँ
शुष्क/अर्ध-शुष्क क्षेत्र खेतों में गड्ढों के माध्यम से जल संग्रहण

🏠 टाँका (राजस्थान का उदाहरण)

  • भूमिगत टैंक, छत वर्षाजल संग्रहण प्रणाली से जुड़ा होता है।

  • आकार: बड़े कमरे जितना (Ex: फलोदी - 6.1m गहरा, 4.27m लंबा)

  • पहले पानी से छत व पाइप साफ किए जाते हैं, फिर जल संग्रहण होता है।

  • गर्मियों तक जल उपलब्ध रहता है।

  • साथ बनाए भूमिगत कमरों को ठंडक मिलती है।


🌦️ छत वर्षा जल संग्रहण (अन्य उदाहरण)

  • शिलांग (मेघालय): 15–25% जल जरूरत इसी से पूरी होती है।

  • गंडाथुर गाँव (कर्नाटक):

    • 2000 घरों में व्यवस्था

    • हर साल ~1,000 mm वर्षा

    • हर घर 50,000 लीटर जल संग्रह

    • गाँव: “वर्षा जल संपन्न गाँव” कहलाता है।


🎍 बाँस ड्रिप सिंचाई प्रणाली (मेघालय)

  • ~200 साल पुरानी विधि

  • बाँस पाइपों से पहाड़ से पानी नीचे खेतों तक लाना

  • जल प्रवाह: 20–80 बूँद/मिनट

  • संग्रहण दक्षता: 80%

  • अंतिम पाइप द्वारा जल पौधे की जड़ों तक पहुँचाया जाता है


⚖️ कानूनी उपाय

  • तमिलनाडु:

    • राज्य सरकार ने छत वर्षा जल संग्रहण को हर घर में अनिवार्य किया है।

    • उल्लंघन पर कानूनी कार्रवाई संभव है।


📌 मुख्य बिंदु (सारांश)

  • वर्षा जल संग्रहण → पर्यावरण-संवेदनशील, सामुदायिक और किफायती उपाय

  • प्राचीन भारत की जल-स्मार्ट परंपराओं का आधुनिक प्रयोग ज़रूरी

  • समाज में पुनः स्थानीय जल संग्रहण प्रणालियों को अपनाने की आवश्यकता


📚 क्रियाकलाप सुझाव:
अपने क्षेत्र में प्रचलित वर्षा जल संग्रहण प्रणालियों का सर्वेक्षण करें। पता लगाएँ कि वे कैसे काम करती हैं और कितनी कारगर हैं।


यहाँ भूगोल कक्षा 10 – अध्याय 3: जल संसाधन पर आधारित 20 बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQs) दिए गए हैं, जिनके उत्तर और व्याख्या नीचे अंत में दी गई है। प्रश्न आसान भाषा में बनाए गए हैं ताकि आप इन्हें नोट्स में भी लिख सकें।


🌊 अध्याय 3: जल संसाधन (जल का महत्व, संकट, संरक्षण)

📝 प्रश्नावली (Questions 1-20):

  1. भारत में वर्षा का प्रमुख स्रोत क्या है?
    (A) पश्चिमी विक्षोभ
    (B) मानसून
    (C) साइकलोन
    (D) भूमध्यसागरीय हवाएँ

  2. भारत में जल का सर्वाधिक उपयोग किस क्षेत्र में होता है?
    (A) उद्योग
    (B) घरेलू उपयोग
    (C) कृषि
    (D) परिवहन

  3. भारत में 'जल संकट' का मुख्य कारण क्या है?
    (A) वर्षा की अधिकता
    (B) जल का असमान वितरण और अत्यधिक दोहन
    (C) नदियों का सुखना
    (D) बर्फबारी

  4. भारत में औसत वार्षिक वर्षा लगभग कितनी होती है?
    (A) 110 सेमी
    (B) 200 सेमी
    (C) 75 सेमी
    (D) 25 सेमी

  5. जल का संरक्षण किससे संभव है?
    (A) अधिक दोहन से
    (B) वर्षा जल संचयन से
    (C) उद्योगों द्वारा जल व्यर्थ करने से
    (D) जल प्रदूषण से

  6. बहुउद्देशीय नदी परियोजनाओं का उद्देश्य नहीं है:
    (A) बाढ़ नियंत्रण
    (B) सिंचाई
    (C) पर्यटन
    (D) वनों की कटाई

  7. सरदार सरोवर परियोजना किस नदी पर है?
    (A) गंगा
    (B) नर्मदा
    (C) गोदावरी
    (D) कृष्णा

  8. हिराकुंड बाँध किस नदी पर स्थित है?
    (A) महानदी
    (B) कावेरी
    (C) सतलुज
    (D) ताप्ती

  9. 'जल विभाजक रेखा' किसे कहते हैं?
    (A) नदी का किनारा
    (B) समुद्र और झील का मिलन
    (C) वह पर्वतीय क्षेत्र जहाँ से नदियाँ अलग दिशाओं में बहती हैं
    (D) झील का तल

  10. 'जल संकट' को हल करने के लिए कौन-सी परंपरागत पद्धति है?
    (A) मोटर पंप
    (B) ट्यूबवेल
    (C) कुंड और बावड़ी
    (D) डैम

  11. 'रैनी वेल' का क्या कार्य है?
    (A) बिजली बनाना
    (B) वर्षा जल एकत्र करना
    (C) गंदा पानी जमा करना
    (D) जमीन खोदना

  12. वर्षा जल संचयन की आधुनिक पद्धति कौन-सी है?
    (A) नलकूप
    (B) टपक सिंचाई
    (C) रूफ वॉटर हार्वेस्टिंग
    (D) जलवाहन

  13. "जल ही जीवन है" का अर्थ क्या है?
    (A) जल अनावश्यक है
    (B) जल से ही जीवन संभव है
    (C) जल से खाना बनता है
    (D) जल महंगा है

  14. भारत में पानी की सबसे अधिक बर्बादी कहाँ होती है?
    (A) शहरों में
    (B) कृषि में
    (C) उद्योगों में
    (D) घरेलू कार्य में

  15. जोहड़ किस क्षेत्र की पारंपरिक जल संरचना है?
    (A) महाराष्ट्र
    (B) गुजरात
    (C) राजस्थान
    (D) केरल

  16. ‘पानी पंचायत’ की शुरुआत कहाँ से हुई?
    (A) बिहार
    (B) महाराष्ट्र
    (C) ओडिशा
    (D) पंजाब

  17. ‘कूलम’ किस राज्य की जल संरचना है?
    (A) आंध्र प्रदेश
    (B) तमिलनाडु
    (C) केरल
    (D) कर्नाटक

  18. भूजल स्तर में गिरावट का कारण है –
    (A) वर्षा की अधिकता
    (B) सिंचाई का संतुलन
    (C) अंधाधुंध दोहन
    (D) समुद्र

  19. जल संरक्षण के लिए विद्यार्थियों का कर्तव्य क्या है?
    (A) जल को नष्ट करना
    (B) अनावश्यक जल बहाना
    (C) टपकती नलियाँ बंद करना
    (D) बाल्टी से नहाना छोड़ना

  20. बहुउद्देशीय परियोजना का एक उदाहरण क्या है?
    (A) हैंडपंप
    (B) कुंआ
    (C) टैंक
    (D) भाखड़ा नांगल परियोजना


उत्तर कुंजी (Answer Key):

प्रश्न उत्तर
1. (B) मानसून
2. (C) कृषि
3. (B) जल का असमान वितरण और अत्यधिक दोहन
4. (B) 200 सेमी
5. (B) वर्षा जल संचयन से
6. (D) वनों की कटाई
7. (B) नर्मदा
8. (A) महानदी
9. (C) वह पर्वतीय क्षेत्र जहाँ से नदियाँ अलग दिशाओं में बहती हैं
10. (C) कुंड और बावड़ी
11. (B) वर्षा जल एकत्र करना
12. (C) रूफ वॉटर हार्वेस्टिंग
13. (B) जल से ही जीवन संभव है
14. (B) कृषि में
15. (C) राजस्थान
16. (B) महाराष्ट्र
17. (C) केरल
18. (C) अंधाधुंध दोहन
19. (C) टपकती नलियाँ बंद करना
20. (D) भाखड़ा नांगल परियोजना

📘 व्याख्या (संक्षिप्त Explanation):

  • Q1-4: भारत में वर्षा का स्रोत दक्षिण-पश्चिम मानसून है और जल का अधिकतम उपयोग कृषि में होता है।

  • Q5-6: जल का संरक्षण वर्षा जल संचयन से होता है, और बहुउद्देशीय परियोजनाओं से कई लाभ मिलते हैं, न कि वनों की कटाई।

  • Q7-8: सरदार सरोवर नर्मदा पर और हिराकुंड महानदी पर है।

  • Q9: जल विभाजक वह पहाड़ी क्षेत्र है जहाँ से नदियाँ अलग दिशाओं में बहती हैं।

  • Q10-12: परंपरागत व आधुनिक जल संरचनाओं में कुंड, बावड़ी, रूफ वाटर हार्वेस्टिंग प्रमुख हैं।

  • Q13-14: "जल ही जीवन है" एक चेतावनी है और जल की बर्बादी सर्वाधिक कृषि में होती है।

  • Q15-17: जोहड़ (राजस्थान), पानी पंचायत (महाराष्ट्र), कूलम (केरल) जैसी क्षेत्रीय संरचनाएँ जल संरक्षण का उदाहरण हैं।

  • Q18-20: अंधाधुंध दोहन भूजल को घटाता है, और विद्यार्थी छोटी आदतों से जल संरक्षण में मदद कर सकते हैं।



Post a Comment

Previous Post Next Post