कुरान को कहा अपाहिज खुद बन गई अपाहिज

इस्लाम पे उंगली उठाने वालों को तस्लीमा नसरीन से सबक लेना चाहिए। किस तरह से आज वो अपने किये की सजा काट रही है, अब वो बिस्तर से उठ नही सकती जो लोग भी बवाल काट रहे है इन्शा अल्लाह उनका भी नम्बर बहुत जल्द आयेगा क्योंकि रब के वहाँ न ही देर है न ही अंधेर है !! 

तस्लीमा नसरीन अपाहिज हो गई।

6 मई 2013 को इस्लाम को एक "अपाहिज धर्म" बताने वाली तस्लीमा नसरीन ने अब करीब 10 साल बाद खुद के अपाहिज होने की घोषणा की है।

उन्होंने ट्वीट किया है कि दिल्ली के अस्पताल में डाक्टरों ने उनका "टोटल हिप" अर्थात पूरा कुल्हा रिप्लेस करके अपाहिज बना दिया है।उन्होंने ट्वीट किया है कि 

"मैंने आज अपनी एक्सरे रिपोर्ट देखी है। मेरा एक्सरे मेरी फीमर या कही भी फ्रैक्चर नहीं दिखाता है। मैं अपने घुटने के बल गिरने के बाद अपने घुटने के दर्द का इलाज कराने के लिए शहर के एक निजी अस्पताल में आयी थी, मुझे कभी जोड़ों का दर्द या जोड़ों की कोई बीमारी नहीं हुई। लेकिन मेरा टोटल हिप रिप्लेसमेंट हो गया।"

"मैं अपने घर पर फर्श पर गिर गयी और अपने साधारण से गर्दन के फ्रैक्चर के इलाज के लिए एक निजी अस्पताल आई। डॉक्टर फिक्सेशन नहीं करना चाहते थे, उन्होंने बिना किसी संकेत के मेरा टोटल हिप रिप्लेसमेंट किया है। मै हमेशा के लिए विकलांग।" नोट - हिप मतलब पिछवाड़ा 

खैर , तस्लीमा नसरीन को अल्लाह माफ़ करे लगता है कि जैसे उन्होंने इस्लाम की नकरात्मक व्याख्या निजी फायदे के लिए की उसी तरह किसी डाक्टर ने भी इनका निजी फायदे के लिए नकरात्मक इलाज करके कुल्हा बदल दिया। 

इस्लाम आज भी शान से खड़ा है और मोहतरमा अपाहिज हो गयीं और एक काना हुआ पड़ा है इसी को कहते हैं कि ऊपर वाले की लाठी में आवाज़ नहीं होती है। लेकीन जब पड़ती है तो चोदह तबक रोशन कर देती है।

आदमी को चाहिए वक्त से डर कर रहे। 

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